बिना दिशा-निर्देशों की अनुपालना के कोविड-19 की औषधि के प्रचार व बेचान पर होगी कार्यवाही- चिकित्सा मंत्री
जयपुर। राजस्थान के चिकित्सा व स्वास्थ्य मंत्री रघु शर्मा ने बुधवार को बाबा रामदेव की दवा के मामले में कानूनी कार्रवाई करने की मांग की है। मंत्री रघु शर्मा ने यह भी कहा है कि पूरा देश इस महामारी से लड़ रहा है और हम भी महामारी से लड़ने का काम भारत सरकार के साथ मिलकर कर रहे हैं। संकट की इस घड़ी में इस प्रकार के प्रयोग अपराध की श्रेणी में आते हैं एवं अगर राजस्थान में कहीं अगर यह दवाई बिकती नजर आई तो उसी दिन बाबा रामदेव को जेल में जाना होगा।
चिकित्सा एवं स्वास्थ्य तथा आयुष मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने कहा है कि भारत सरकार द्वारा ड्रग्स एण्ड कोस्मेटिक एक्ट 1940 एवं 1945 के तहत 21 अप्रेल, 2020 को जारी गजट नोटिफिकेशन के अनुसार केन्द्रीय आयुष मंत्रालय की स्वीकृति के बिना कोविड-19 महामारी की दवा के रूप में किसी भी आयुर्वेदिक औषधि का विक्रय नहीं किया जा सकता। उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी के उपचार की दवा के रूप में किसी भी औषधि का विक्रय पाए जाने पर विक्रेता के विरूद्ध नियमानुसार सख्त कार्यवाही की जाएगी। डॉ. शर्मा ने बताया कि प्रदेश में कोविड-19 के उपचार में केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय, केन्द्रीय आयुष मंत्रालय एवं आईसीएमआर की गाइड लाइन्स की अनुपालना सुनिश्चित की जा रही है।
न तो राज्य सरकार को आवेदन किया और न ही राज्य सरकार ने इस बारे में कोई अनुमति दी-रघु शर्मा
उन्होंने बाबा रामदेव द्वारा कोरोना-19 के उपचार की दवा के दावे के संबंध में स्पष्ट किया कि आयुर्वेदिक औषधियां इम्यूनिटी बूस्टर के रूप में उपयोगी हो सकती हैं लेकिन दवा के रूप में यह दावा बिना आयुष मंत्रालय की अनुमति के स्वीकार नहीं किया जा सकता। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि इस दवा के संबंध में न तो किसी ने राज्य सरकार को आवेदन किया और न ही राज्य सरकार ने इस बारे में कोई अनुमति दी है। स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि राज्य सरकार के अनुमति के बिना ह्युमन ट्रायल भी नहीं किया जा सकता। बिना अनुमति के क्लिनिकल ट्रायल करके आम जन को गुमराह करने वाले के विरूद्ध नियमानुसार कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने बताया कि 21 अप्रैल, 2020 को जारी गजट नोटिफिकेशन के अनुसार कोविड-19 के सन्दर्भ में किसी भी संगठन को अनुसंधान करते समय साइन्टिफिक एडवाइजरी बॉडीज एवं इंस्टीट्यूशनल एथिक्स कमेटी द्वारा अनुमोदित होना चाहिए। स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि प्रदेश में इन दिशा निर्देशों की अनुपालना के बिना किसी औषधि को कोविड-19 की औषधि के बारे में प्रचारित एवं बेचान करने वाले के विरूद्ध नियमानुसार कार्यवाही की जाएगी।गौरतलब है कि कोरोना वायरस के सफल इलाज के लिए दवा बना लेने का दावा का करते हुए बाबा रामदेव ने मंगलवार को पतंजलि की आयुर्वेदिक दवा 'कोरोनिल' लॉन्च की थी जिसके बाद कल से ही दवा विवादों में आ गई है।
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